आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के गलत इस्तेमाल से हो सकती है 3 साल की जेल, जानिए क्या है कानून
पिछले कुछ समय से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग बहुत अधिक बढ़ गया है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का अर्थ है कंप्यूटर की ऐसी कृत्रिम बुद्धि जो मनुष्य की तरह सोचने समझने एवं विश्लेषण की शक्ति रखती है। इंटरनेट पर इसका उपयोग सभी बड़ी कंपनियां कर रही हैं। और यह सुविधा अब आम जनता के लिए भी उपलब्ध हो गई है। इसका सबसे अच्छा उदाहरण है चैट जीपीटी नाम की सुविधा।
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से क्या-क्या काम किए जा रहे हैं
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस कई तरह की कैलकुलेशन निकालने और उत्तर तलाशने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।
आम आदमी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग इन कामों के लिए कर रहा है –
- इंटरनेट पर किसी सवाल का जवाब तलाशने में
- उत्तर या निबंध लिखने में
- शब्दों के द्वारा इंस्ट्रक्शन देकर कोई इमेज तैयार करने में
- शब्दों के द्वारा किसी वीडियो की स्क्रिप्ट तैयार करने में
- ईमेल या मैसेज लिखने में
- भाषा संबंधी कई काम जैसे गलतियां सुधारना वाक्य सुधारना या त्रुटियां ढूंढना
- इसके अलावा भी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के कई उपयोग है
उपरोक्त कामों के अलावा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के नुकसान भी हैं। इंटरनेट पर अब इसी सुविधा का गलत इस्तेमाल भी हो रहा है।
- किसी कंप्यूटर या इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस तक अनधिकृत पहुंच हासिल करने के लिए
- साइबर हमलों के लिए
- साइबर फ़िशिंग (cyber Fishing )
- किसी व्यक्ति या संस्था की गोपनीय जानकारी हासिल करना
- पहचान की चोरी (Identity Theft )
- किसी आपराधिक उद्देश्य से कोई ऐप सॉफ्टवेयर मालवेयर या कंप्यूटर वायरस बनाना
AI के गलत इस्तेमाल के क्या परिणाम होंगे
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का गलत इस्तेमाल किसी भी व्यक्ति को जेल पहुंचा सकता है। AI के गलत इस्तेमाल पर इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी एक्ट (IT Act) एवं भारतीय दंड संहिता 1862 ( IPC) की धाराओं के तहत कानूनी कार्रवाई हो सकती है।
इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी एक्ट (IT Act) की धारा 67 के तहत AI की मदद से किसी को बदनाम करने पर 3 साल की सजा हो सकती है। यदि कोई व्यक्ति किसी को बदनाम करता है या अश्लील वीडियो शेयर करता है तो सजा के साथ जुर्माना भी हो सकता है।